रुद्रप्रयाग: कुछ समय पहले नरकोटा में बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग पर उत्तराखंड का पहला सिग्नेचर ब्रिज ढह गया था। उसके बाद रुद्रप्रयाग के नारकोटा में ही पुल की सेटरिंग ढह गई, आज रुद्रप्रयाग में 17 मजदूरों की जान बाल बाल बच गई जब 50 गाड़ियों की क्षमता वाली पार्किंग का लेंटर धराशायी हो गया।
दरअसल रुद्रप्रयाग में सिंचाई विभाग के द्वारा 50 गाड़ियों की क्षमता के लिए पार्किंग का निर्माण किया जा रहा है। रुद्रप्रयाग में यह पार्किंग बस अड्डे पर पुनाड़ गदेरे के ऊपर बनाई जा रही है। आज पार्किंग का लेंटर डाला जा रहा था, जिसमें 17 से 20 मजदूर काम कर रहे थे। अचानक भयानक आवाज के साथ पूरा लेंटर धराशायी हो गया। जान बचाने के लिए भागते कुछ मजदूर भी इसकी चपेट में आ गए।
भार नहीं झेल पाया लेंटर
रिपोर्ट्स के मुताबिक, पार्किंग की आधा छत भी पड़ चुकी थी और मजदूर कार्य करने में लगे हुए थे। एक करोड़ पांच लाख की लागत से रुद्रप्रयाग सींचाई विभाग द्वारा बनाई जा रही वाहन पार्किंग छत डालने के दौरान धराशायी हो गई। मलबे में कुछ मजदूर फंस गए। इसके बाद एनडीआरएफ की टीम आई उन्होंने मौके पर सर्च अभियान चलाया और दो घायल लोगों को रेस्क्यू किया। घटना के पीछे के कारण पार्किंग की निर्माणाधीन छत का भार नहीं झेल पाना बताया जा रहा है। जाहिर तौर पर संबंधित कार्यदायी संस्था, जेई और ठेकेदार की गलतियों से एक बड़ा हादसा होते होते टल गया।