Thursday, June 8, 2023
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Uttarakahand : पर्वतीय जिलों में कोरोना का सबसे ज्यादा कहर, अब प्रदेश में हर चौथा मामला पर्वतीय जिलों से

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Uttarakahand : पर्वतीय जिलों में कोरोना का सबसे ज्यादा कहर, अब प्रदेश में हर चौथा मामला पर्वतीय जिलों से

प्रदेश के पर्वतीय जिलों में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर कहर बरपा रही है. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 1 मई से 19 मई के बीच नौ पर्वतीय जिलों में 20 हजार से ज्यादा मामले सामने आए हैं, जो राज्य के कुल मामलों का 27.6 फीसदी है.

पहाड़ों में कोरोना से मरने वालों की संख्या भी बढ़ती जा रही है. इसके लिए सरकार की कुप्रबंधन, नौकरशाही की पूरी व्यवस्था को छोड़कर पहाड़ी जिलों में जांच की धीमी गति को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है. राज्य में 1 मई से मई के बीच कोरोना से मरने वालों में 19 फीसदी मरीज पर्वतीय जिलों के हैं.

1 मई से 10 मई तक राज्य के नौ पहाड़ी जिलों में करीब 20 हजार लोग संक्रमित पाए गए, जो राज्य के कुल मामलों का 27.6 प्रतिशत है. इस हिसाब से अब राज्य में हर चौथा मामला उत्तराखंड के पर्वतीय जिलों से सामने आ रहा है. पहाड़ों की विषम भौगोलिक स्थिति के कारण एक टीम एक ही गांव में एक दिन में जांच करने में सक्षम है। उस दिन वह चाहकर भी दूसरे गांव नहीं जा पाती।

ऐसे में जांच टीमों की संख्या समेत जरूरी संसाधन बढ़ाने की जरूरत है। चिकित्सकों सहित चिकित्सा कर्मियों के कई पद रिक्त होने के कारण स्वास्थ्य विभाग को वांछित बल नहीं मिल सका। 15वें वित्त आयोग के अध्यक्ष एनके सिंह ने कहा था कि कुल जीडीपी का 2.5 फीसदी स्वास्थ्य सेवाओं पर खर्च किया जाना चाहिए और राज्य सरकारों को अपने बजट का पांच से ज्यादा हिस्सा स्वास्थ्य सेवा पर खर्च करना चाहिए।

फिर भी केंद्र और राज्य सरकारों ने स्वास्थ्य सेवा के लिए बजट नहीं बढ़ाया। कोई भी सरकार कोरोना की दूसरी लहर के खतरे का अंदाजा नहीं लगा पाई। अब तीसरी लहर का भी खतरा है।

कोरोना की दूसरी लहर को समझने में सरकारें पूरी तरह विफल रही हैं। सरकार दिशाहीन है और पूरी व्यवस्था नौकरशाही की समझ और भरोसे पर छोड़ दी गई है। राज्य में दहशत का माहौल है। फैसले में देरी के कारण लोगों को अमानवीय परिस्थितियों का सामना करना पड़ रहा है। ऑक्सीजन सिलेंडर की आपूर्ति में देरी से हजारों लोगों की असमय मौत हो गई और लाखों लोगों की जान संकट में आ गई। सरकार को समय रहते सतर्क होकर आवश्यक संसाधन जुटा लेने चाहिए थे।
– दिनेश तिवारी, पूर्व उपाध्यक्ष विधि आयोग उत्तराखंड

Ankur Singh
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Ankur Singh is an Indian Journalist, known as the Senior journalist of Hill Live
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